Rewa Rape Case: मध्य प्रदेश के रीवा में नौ साल की लड़की से रेप और हत्या की जांच कर रही पुलिस ने पाया कि उसके नाबालिग भाई ने मोबाइल पर पोर्न वीडियो दिखाया था, जिसके बाद रेप किया और फिर उसकी हत्या कर दी. पुलिस ने जांच में यह भी पाया कि नाबालिग की मां और दो बड़ी बहनों ने इस मामले को दबाने में मदद की. यह जानकारी एक अधिकारी ने दी है.
एसपी ने क्या कहा?
पुलिस ने आज यानी 27 जुलाई को बताया, "50 लोगों से पूछताछ, आरोपियों से गहन पूछताछ और तकनीकी साक्ष्यों के आधार पर मामले का खुलासा किया गया और पीड़ित लड़की के 13 साल भाई, उनकी मां और 17 और 18 साल की बहनों को हिरासत में लिया गया." पुलिस अधीक्षक विवेक सिंह ने मामले की जानकारी देते हुए बताया कि इस साल अप्रैल को जवा थानाक्षेत्र में नौ साल की बालिका के साथ रेप करके उसकी गला घोंटकर हत्या कर दी गई थी, जिसके बाद पुलिस ने एक मामला दर्ज करके जांच शुरू कर दी थी.
उन्होंने बताया कि पीड़िता का शव उसके घर के आंगन से बरामद किया गया, जहां वह घटना के समय सो रही थी। उन्होंने बताया कि परिजनों से गहन पूछताछ के बाद पता चला कि पीड़िता का 13 वर्षीय भाई रात में उसके पास सोया था। उन्होंने बताया कि किशोर लड़के ने मोबाइल फोन पर अश्लील वीडियो देखने के बाद अपनी बहन के साथ दुष्कर्म किया था। उन्होंने बताया कि पीड़िता ने जब यह बात अपने पिता को बताने की धमकी दी तो लड़के ने उसका गला घोंट दिया और बाद में अपनी मां को जगाया और पूरी बात बतायी।
पूछताछ के बाद अपराध किया कबूल
उन्होंने बताया, "मां ने तब देखा कि पीड़िता अभी जीवित है, तो यह देखकर आरोपी ने फिर से उसका गला घोंट दिया. इस बीच किशोर की दो बड़ी बहनें भी जाग गईं और पुलिस को खबर देने से पहले जांच को गुमराह करने के लिए सभी ने अपना बिस्तर बदल लिया. हालांकि, बार-बार पूछताछ के बाद उन्होंने आखिरकार अपना अपराध कबूल कर लिया."
जांच के लिए एसआईटी गठित
अधिकारी ने बताया, "लड़के, उसकी दो बहनों और उनकी मां को हिरासत में लेने के बाद आगे की कानूनी कार्रवाई की जा रही है. पुलिस को 24 अप्रैल की सुबह खबर मिली कि लड़की का शव घर के आंगन में पड़ा है. पोस्टमार्टम रिपोर्ट में रेप और हत्या से संबंधित सबूत मिले और जांच के लिए एसआईटी टीम गठित की गई."
ऐसे हुआ खुलासा
उन्होंने बताया, "जांचकर्ताओं को गुमराह करने के लिए परिवार के सदस्यों ने पुलिस को बताया था कि लड़की की मौत, किसी जहरीले कीड़े के काटने से हुई है. जांच में पता चला कि घर में किसी के घुसने का कोई संकेत नहीं था और परिवार के सदस्यों ने रात में किसी तरह की आवाज सुनने से भी इनकार किया है. तकनीकी साक्ष्य जुटाने और 50 लोगों से पूछताछ के बाद पुलिस को परिवार के सदस्यों के बयानों में बार-बार बदलाव देखने को मिला. संदेह के आधार पर उनसे गहन पूछताछ की गई, जिसके बाद उन्होंने अपना अपराध स्वीकार कर लिया."