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Mohammed Asfan: भारतीय नागरिक असफान को धोखे से रूसी सेना में किया भर्ती, गोली लगने से मौत!

Indian in Russian Army​: हैदराबाद के रहने वाले शख्स मोहम्मद असफान की रूस में मौत हो गई है. बताया जा रहा है कि उसे धोखे से जंग में लड़ने के लिए भेज दिया गया. असफान के भाई ने गंभीर आरोप लगाए हैं.  

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Mohammed Asfan: भारतीय नागरिक असफान को धोखे से रूसी सेना में किया भर्ती, गोली लगने से मौत!
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Sami Siddiqui |Updated: Mar 07, 2024, 09:53 AM IST

Mohammed Asfan in Russia: पिछले साल नवंबर में, हैदराबाद के निवासी मोहम्मद असफान और उत्तर प्रदेश और जम्मू-कश्मीर के दो अन्य युवक रूस पहुंचे थे. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक  एजेंटों ने उन्हें रूसी सरकारी कार्यालयों में सहायक के रूप में नौकरी देने का वादा किया था. रिपोर्ट के मुताबिक असफान को रूस आर्मी में भर्ती कर दिया गया. आखिरी बार मोहम्मद असफान ने अपने परिवार से 31 दिसंबर, 2023 को बात की थी. बताया जा रहा है युवक की मौत हो गई है. बुधवार, 6 मार्च को मॉस्को में भारतीय दूतावास ने 30 साल के शख्स की मौत की पुष्टि की है.

मॉस्को एंबेसी ने क्या कहा?

मॉस्को में भारतीय दूतावास ने एक पोस्ट में कहा, "हमें एक भारतीय नागरिक श्री मोहम्मद असफान की दुखद मौत के बारे में पता चला है. हम परिवार और रूसी अधिकारियों के संपर्क में हैं. मिशन उनके पार्थिव शरीर को भारत भेजने की कोशिश करेगा."

असफान के भाई ने कही ये बात

मोहम्मद असफान के भाई मोहम्मद इमरान ने अपने भाई की मौत की पुष्टि पर चिंता व्यक्त की है और कहा है कि जो एजेंट असफान को फंसाने में शामिल थे, उन्हें गिरफ्तार किया जाना चाहिए. मोहम्मद इमरान के अनुसार, एजेंटों, जिनमें से एक का कार्यालय दुबई में है और बाबा व्लॉग्स नामक एक व्लॉग चलाता है और दो अन्य मुंबई से हैं, ने युवाओं से 3-3 लाख रुपये लिए थे.

रूसी सेना में हेल्पर के तौर पर भर्ती

मॉस्को पहुंचने के बाद, मोहम्मद असफान और दो अन्य लोगों से रूसी भाषा में एक दस्तावेज़ पर हस्ताक्षर कराए गए. मोहम्मद इमरान ने दावा किया कि लेकिन बाद में उन्हें एहसास हुआ कि उन्हें रूसी सेना में "हेल्पर" के रूप में भर्ती किया गया था. मोहम्मद असफान ने भी एजेंटों से संपर्क किया था और उन्हें बताया था कि उन्हें हथियार चलाने का प्रशिक्षण दिया जा रहा है, लेकिन एजेंटों ने फिर से उनसे झूठ बोला कि यह काम का एक हिस्सा है. लेकिन, बाद में युवाओं को रूस-यूक्रेन सीमा पर ले जाया गया.

पंजाब के युवाओं के साथ भी हुआ कुछ ऐसा

कुछ ऐसा ही पंजाब और हरियाणा के युवाओं के साथ भी हुआ है. जहां, उन्हें आर्मी में हेल्पर के तौर पर भर्ती किया गया और उन्हें हथियार चलाने की ट्रेनिंग देने के बाद फ्रंटलाइन पर जाने के लिए कहा गया.

इस बीच, मोहम्मद इमरान ने दावा किया कि रूस में उनके संपर्क में रहने वाले एजेंट कह रहे हैं कि मोहम्मद असफान जीवित हैं और यूक्रेन के मारिनका इलाके में हैं. समाचार एजेंसी एएनआई ने मोहम्मद असफान के हवाले से कहा, "एजेंट कह रहे हैं कि वह जीवित है, लेकिन दूतावास का कहना है कि वह मर चुका है."

गोली से हुआ घायल

मोहम्मद इमरान ने कहा कि रूस में उनके भाई के एक दोस्त ने उन्हें बताया कि उनके भाई को गोली लगी है, "हमें 23 जनवरी को उनके घायल होने की खबर मिली. उनके एक दोस्त अरबाब हुसैन ने वॉयस मैसेज के जरिए मुझे उनके गोली लगने के बारे में बताया. मुझे उनकी मौत के बारे में गलत सूचना दिए जाने का संदेह है. हम केवल दूतावास पर भरोसा कर सकते हैं, एजेंटों पर नहीं. लेकिन एजेंट कह रहे हैं कि वह जीवित है. अगर यह सच है, तो हम न्याय चाहते हैं.''

बुधवार को विदेश मंत्रालय ने कहा कि वे परिवार और रूसी अधिकारियों के संपर्क में हैं और उनके पार्थिव शरीर को भारत भेजने की कोशिश कर रहे हैं.

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