Imran Khan-Bushra Bibi Illegal Marriage Case: पाकिस्तान के पूर्व पीएम और उनकी पत्नी बुशरा बीबी को अवैध निकाह मामले में करारा झटका लगा है. दरअसल, पाकिस्तान की एक जिला अदालत ने बृहस्पतिवार ( 27 जून ) को पूर्व पीएम और उनकी पत्नी की उस याचिका खारिज को कर दी जिसमें उन्होंने अवैध निकाह मामले में अपनी सजा को निलंबित करने का आग्रह किया था.
अगस्त 2023 से जेल में बंद पूर्व पीएम के लिए अदालत का ये फैसला बहुत बड़ा झटका माना जा रहा. बता दें कि पति- पत्नी दोनों को जिला और सेशन कोर्ट ने तीन फरवरी को इस मामले में 7-7 साल की कैद और पचास-पचास हजार रुपये के जुर्माने की सजा सुनाई थी. इस मामले को मुस्लिम मजहब में आमतौर पर ‘इद्दत’ के तौर पर जाना जाता है.
क्या होती है इद्दत?
इद्दत वह अवधि होती है जो मुस्लिम महिला को पति के इंतकाल या तलाक के बाद दूसरी शादी करने से पहले अकेले बितानी होती है. पति की मौत के बाद या तलाक के बाद 4 माह १० दिन के ये अवधि गुज़ारने के बाद ही कोई महिला किसी दूरे मरद से निकाह या शारीरिक सम्बन्ध बना सकती है. इसका मकसद महिला के पेट में पल रहे किसी तरह के गर्भ के असली पिता के निर्धारण में कोई संदेह या समस्या न पैदा हो इसलिए ये व्यवस्था बनाई गई है.. अगर महिला जाहिर तौर पर गर्भवती है और इस दौरान ही उसके पति की मौत हो जाती है या पति से तलाक हो जाता है तो बच्चा पैदा होने तक की मियाद में इद्दत में रहना होता है. इद्दत के दौरान महिला घर में अकेली रहती है, और बेहद सादा जीवन व्यतीत करती है. इस अवधि के पहले किया गया निकाह अमान्य होता है.
गौरतलब है कि गैर-कानूनी निकाह मामले में बुशरा बीबी के पूर्व पति खानवार मनेका ने साल 2023 के नवंबर में FIR दर्ज कराई थी. उन्होंने इल्जाम लगाया था कि बुशरा ने अनिवार्य इद्दत यानी चार महीने की अवधि को पूरा किए बिना ही खान से निकाह कर लिया. मनेका ने पूर्व क्रिकेटर खान और बुशरा के निकाह को गलत और अमान्य करार देने की अपील की थी.
बुशरा बीबी कई मामलों में हैं आरोपी
वहीं, इस मामले की सुनवाई करते हुए एडिशनल डिस्ट्रिक्ट एवं सेशन जज अफजल मजोका ने फैसला मंगलवार को सुरक्षित रख लिया था. जस्टिस ने खचाखच भरे अदालत के अहात में बृहस्पतिवार को फैसला सुनाया कि दंपति ( इमरान खान- बुशरा बीबी ) की तरफ से दाखिल याचिका खारिज की जाती है. इस फैसले से रावलपिंडी की अदियाला जेल में कैद दंपति की रिहाई की कोशिशों को बड़ा झटका लगा है. 71 साल के पूर्व पीएम खान के खिलाफ कई मामले दर्ज हैं जबकि उनकी 49 साल की पत्नी बुशरा भी कई मुकदमों का सामना कर रही हैं.
PTI हाईकोर्ट में फैसले के खिलाफ देगी चुनौती
कोर्ट के इस फैसले पर प्रतिक्रिया देते हुए नेशनल असेंबली में अपोजिशन लीडर उमर अयूब ने कहा कि खान की पार्टी इस फैसले को इस्लामाबाद हाईकोर्ट में चुनौती देगी. वहीं, अपोजिशन लीडर ने मीडिया से बातचीत में दोहराते हुए कहा कि सरकार से तब तक बातचीत नहीं होगी जब तक वह पीटीआई के सभी नेताओं और कार्यकर्ताओं को रिहा नहीं कर देती.
खान की पार्टी पीटीआई ने इस घटनाक्रम को "पूरी तरह से हास्यास्पद" करार दिया है. PTI ने अपने आफिशियल सोशल मीडिया अकाउंट ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, "हमारे देश के साथ-साथ इस्लामी इतिहास में भी अभूतपूर्व रूप से घृणित है,और इसकी विश्व स्तर पर निंदा की गई है और इससे पाकिस्तान को बहुत शर्मिंदगी उठानी पड़ी है."