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प्राइवेट स्कूल का फैसला, लंच ब्रेक के दौरान अगर स्टूडेंट्स की लगी झपकी तो लगेगा चार्ज, सोशल मीडिया पर भड़के यूजर

School News: स्कूल ने अपने पैरेंट्स-टीचर्स वीचैट ग्रुप में नए शुल्क के बारे में बताते हुए एक नोटिस भेजा था. हालांकि नए शुल्क लेने कोई कारण नहीं बताया गया. सोशल मीडिया पर स्कूल के इस निर्णय की आलोचना हो रही है. 

प्रतीकात्मक फोटो
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Manish Kumar.1|Updated: Sep 04, 2023, 01:54 PM IST

China News: चीन (China ) का एक प्राइवेट प्राइमरी स्कूल (Private Primary School) इस दिनों चीनी सोशल मीडिया पर चर्चा का विषय बना हुआ है. दरअसल यह स्कूल लंच ब्रेक के दौरान स्टूडेंट्स के झपकी लेने पर शुल्क वसूलने की योजना बना रहा है. साउथ चाइना मॉर्निंग पोस्ट की रिपोर्ट के मुताबिक दक्षिणपूर्वी चीन के गुआंग्डोंग प्रांत (Guangdong Povince) में स्थित जिशेंग प्राइमरी स्कूल (Jiesheng Primary School ) कथित तौर पर नए स्कूल वर्ष में छात्रों पर यह नई शुल्क लगाने को तैयार है.

रिपोर्ट के मुताबिक एक स्क्रीनशॉट से इस बता का खुलासा हुआ. दरअसल स्कूल ने अपने पैरेंट्स-टीचर्स वीचैट ग्रुप में नए शुल्क के बारे में बताते हुए एक नोटिस भेजा था. हालांकि नए शुल्क लेने कोई कारण नहीं बताया गया.

दोपहर की झपकी लेने के लिए छात्रों को देनी होगी इतनी शुल्क
अगर बच्चा डेस्क पर सिर झुका कर सोएगा तो इसके लिए अवधि 200 युआन (US$28) का शुल्क लगेगा। जो स्टूडेंट कक्षाओं में चटाई पर लेटना पसंद करते हैं,  उन्हें इसके लिए 360 युआन देना होगा. जबकि निजी कमरों में बिस्तरों पर सोने के लिए 680 युआन का शुल्क लगेगा. जब बच्चे सो रहे होंगे तो स्टूडेंट्स की शिक्षकों की निगरानी में रहेंगे.

यह अनिवार्य नहीं होगा
हालांकि रिपोर्ट के मुताबिक स्कूल के एक स्टाफ सदस्य के मुताबिक, ‘यह अनिवार्य नहीं होगा. छात्र अपने लंच ब्रेक के दौरान घर वापस जाने का विकल्प भी चुन सकते हैं.’

स्टाफ के सदस्य ने कहा कि नया शुल्क आधिकारिक नियमों के अनुरूप हैं. उन्होंने यह भी कहा कि स्कूल स्वयं निर्णय ले सकता है कि उसे क्या शुल्क लेना है।

डोंगगुआन सिटी डेवलपमेंट एंड रिफॉर्म ब्यूरो के एक प्रवक्ता ने शुल्क को उचित बताया क्योंकि झपकी सत्र के दौरान छात्रों की देखरेख और देखभाल के लिए शिक्षकों उपस्थित रहेंगे.

स्कूल के इस फैसले पर एक ऑनलान यूजर ने कहा, ‘क्या यह एक मजाक है? स्कूल सिर्फ पैसा कमाने के लिए पागल हो गया है.’ एक अन्य ने कहा, ‘क्या मैं अकेला हूं जो यह नहीं समझ सकता कि छात्रों को अपने डेस्क पर सोने के लिए भुगतान क्यों करना पड़ता है?’

तीसरे यूजर ने कहा, ‘यह मजाक है. आगे स्कूल टॉयलेट जाने या सांस लेने के लिए शुल्क लेगा?’

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