Lok Sabha Election 2024: कहते हैं राजनीति में दिल्ली का रास्ता यूपी से होकर ही गुजरता है. यही कारण है कि लोकसभा चुनाव के लिहाज से यूपी काफी अहम हो जाता है. देश का सबसे बड़ा राज्य होने के नाते यहां अगले साल होने वाली लोकसभा चुनाव को लेकर पार्टियों ने तैयारियां भी शुरू कर दी हैं. बात पिछले लोकसभा चुनाव की करें तो यूपी में भाजपा ने 62 सीटों पर परचम लहराया था. हालांकि इन सबमें एक बात थी जो जीत के बाद भी भाजपा को खनक रही थी, वह यह थी कि भाजपा को इन अधिकांश सीटों पर बहुत कम वोटों से ही विजय प्राप्त हुई थी. ऐसे में अगले होने वाले लोकसभा चुनाव में अगर थोड़ा सा भी उलटफेर हुई तो भाजपा के लिए मुश्किल खड़ी हो सकती है. तो आइये उन सीटों पर एक नजर डालते हैं.
पिछली बार 7 सीटों पर बामुश्किल जीती थी भाजपा
दरअसल, पिछले लोकसभा चुनाव 2019 में भाजपा को जिन सीटों पर बहुत कम अंतर से जीत मिली थी, उनमें मुजफ्फरनगर, मेरठ, बागपत, फिरोजाबाद, बदायूं, कैराना और मोहनलालगंज शामिल थीं. इन सीटों पर बीजेपी को भले ही जीत मिली हो लेकिन दूसरे नंबर पर आए प्रत्याशी की वोटों से रिजल्ट के समय ऐसा लगा था कि कब यह सीट बीजेपी से छिन सकती हैं. माना जा रहा है कि अगले लोकसभा चुनाव में इन सीटों पर भाजपा को जीत के लिए मुश्किल हो सकती है.
पश्चिमी यूपी पर खासा असर
यूपी की मुजफ्फरनगर सीट पर भाजपा के संजीव कुमार बालियान ने RLD नेता स्वर्गीय अजीत सिंह को हराया था. पश्चिमी यूपी की यह सीट जाट बाहुल्य के नाम से मशहूर है, लेकिन यहां पर अजीत सिंह को हार का सामना करना पड़ा था. जहां संजीव बालियान को 573780 वोट मिले थे तो वहीं अजीत सिंह को 567254 वोट मिले थे. ऐसे में जीत का अंतर महज 6526 वोटों का रहा था.
किन सीटों पर किसको मिले थे कितने मत
वहीं, मेरठ सीट की बात करें तो 2019 में इस सीट पर भाजपा प्रत्याशी राजेंद्र अग्रवाल ने BSP के हाजी मोहम्मद याकूब को 4729 वोटों के अंतर से हराया था. वहीं, बागपत सीट भाजपा के डॉ. सत्यपाल सिंह ने रालोद प्रमुख जयंत चौधरी को 23502 वोटों से हराया था. फिरोजाबाद सीट पर BJP के चंद्रसेन जादौन ने SP के अक्षय यादव को 28781 वोटों से हराया था. बदायूं में BJP की संघमित्रमौर्या ने सपा के धर्मेंद्र यादव को 18454 वोटों से हराया था. वहीं, कैराना से भाजपा के प्रदीप चौधरी ने सपा की बेगम तबस्सुम हसन को 92160 वोटों से और मोहनलालगंज से बीजेपी के कौशल किशोर ने बसपा के सीएल वर्मा को 90229 वोटों से मात दी थी. ऐसे में जानकारों का मानना है कि अगर इन सीटों पर थोड़ा सा भी उलटफेर हुआ तो भाजपा के लिए यह मुश्किल में डाल सकता है.
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