Ayodhya Ram Path News: राम नगरी अयोध्या में पहली बारिश में ही 844 करोड़ की लागत से बने रामपथ के धंसने से हुए गड्ढों की वजह से निर्माण कार्य पर सवाल उठ रहे हैं. जिसके चलते प्रशासन ने लोक निर्माण विभाग और जल निगम (नगरीय) के दो अधिशासी अभियंता, दो सहायक अभियंता और दो अवर अभियंता को निलंबित कर दिया है. इसके अलावा गुजरात की कार्यदायी संस्था मेसर्स भुगन इंफ्राकान प्राइवेट लिमिटेड को घटिया निर्माण कार्य को लेकर नोटिस भी भेजा गया है.
इतना ही नहीं प्रशासन ने जल निगम के मुख्य अभियंता लखनऊ क्षेत्र को इस मामले में जांच अधिकारी नामित किया है, और उन्हें 30 जुलाई तक अपनी रिपोर्ट सौंपने का निर्देश दिया गया है.
पहली बारिश में प्रशासन की किरकिरी
अयोध्या में मानसून की पहली बारिश में ही रामपथ पर हुए गड्ढों को लेकर निर्माण कार्य की गुणवत्ता पर सवाल उठाए जा रहे हैं. बताया जा रहा है कि सड़क का निर्माण जल्दबाजी में हुआ और निर्माण कार्य के मानदंडों की अनदेखी हुई है. रामपथ के निर्माण कार्य के दौरान जल्दबाजी के चलते कुछ हिस्सों में गड्ढों की खुदाई के बाद मिट्टी के दबने की प्राकृतिक प्रक्रिया को उचित समय नहीं दिया गया. इसलिए अब जब दो बार बारिश हुई तो मिट्टी दबने की प्राकृतिक प्रक्रिया स्वत: ही शुरू हो गई और सड़क में गड्ढे हो गए. हालांकि जल निगम ने सभी गड्ढों को फिलहाल भरवा दिया है. इसके साथ ही लोकनिर्माण विभाग के साथ मिलकर इस मार्ग पर बने सीवर चैंबरों की निगरानी की जा रही है, कि कहीं उनके निर्माण में भी तो जल्दबाजी नहीं हुई है.
आदेश में क्या कहा गया
लोक निर्माण विभाग के विशेष सचिव विनोद कुमार की ओर से जारी आदेश में कहा गया है. अयोध्या में बीते दिनों 22 से 25 जून को बारिश के दौरान रामपथ का नवनिर्मित हिस्सा बहुत ही कम समय में क्षतिग्रस्त हो गया. शीर्ष प्राथमिकता वाले कार्यों में लापरवाही की वजह से ना केवल शासकीय क्षति हुई है बल्कि इससे आम जनता में शासन की छवि भी खराब हुई है. गंभीर अनियमितता के लिए उत्तरदायी अधिशासी अभियंता ध्रुव अग्रवाल व सहायक अभियंता अनुज देशवाल को तात्काल प्रभाव से निलंबित किया जाता है.
ये भी पढ़ें: यूपी में बिजनौर से बनारस करीब स्वास्थ्य अधिकारियों के ताबड़तोड़ तबादले, देखें लिस्ट
ये भी पढ़ें: यूपी में छा गया मानसून, तर हुआ नोएडा से लखनऊ, इन 36 जिलों में भारी बारिश का अलर्ट