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Bundi dilapidated School: 35 साल जर्जर भवन में पढ़ाई करने को मजबूर बच्चे, डर से ग्रामीणों ने स्कूल के लगाए ताले

Bundi News: राजस्थान बूंदी जिले के लाखेरी के स्कूल का हाल डराने वाली है. इस स्कूल के बच्चें डर के साए में पढ़ाई करते है. जर्जर भवन बच्चों की जान ले सकती है. स्कूल की पुरानी बिल्डिंग से डरे अभिभावकों ने आखिरकार ताला जड़ दिया है.  

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Bundi dilapidated School: 35 साल जर्जर भवन में पढ़ाई करने को मजबूर बच्चे, डर से ग्रामीणों ने स्कूल के लगाए ताले
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Sandeep Vyas|Updated: Jul 13, 2023, 11:36 PM IST

Bundi dilapidated School​: राजस्थान बूंदी जिले के लाखेरी में वर्षों पुराने स्कूल का जर्जर भवन छात्रों और अभिभावकों के लिए सिरदर्द बन रहा है. पुराने स्कूल भवन जर्जर होकर हादसे का सबब बन रहे हैं. इसी आशंका के चलते बुंदी के भांड ग्वार स्कूल को ग्रामीणों ने ताला लगाकर बंद कर दिया. ग्रामीणों का कहना है कि स्कूल मे एक भी कमरा ऐसा नहीं है जहां छात्रों को सुरक्षित रूप से बैठाया जा सके.

जर्जर भवन छात्रों और अभिभावकों के लिए सिरदर्द 

ग्रामीण लंबे समय से नये भवन की मांग कर रहे लेकिन उनकी सुनवाई नहीं हो रही है जबकि पिछले साल ही इस स्कूल को सीनियर सेकेंडरी स्कूल मे अप ग्रेड किया गया है. स्कूल भवन मे एक भी कमरा ऐसा नहीं है जिसमें छात्रों को पढाई के लिए बैठाया जा सके. जर्जर भवन मे कोई हादसा नहीं हो जाए इसलिए टीचर खुले मैदान मे पढाई करवाते है. बरसात मे खुले मैदान मे बैठना भी मुसीबत भरा हो जाता है.

जर्जर भवन में डर के साए में पढ़ाई करते हैं छात्र

इसी समस्या को लेकर गुरूवार को ग्रामीणों ने स्कूल के ताला लगा दिया. ग्रामीणों का कहना है कि जर्जर भवन को लेकर हमेशा हादसे की आशंका बनी रहती है. जर्जर भवन कभी भी गिर सकता है ऐसे मे कोई हादसा हो जाए तो कौन जिम्मेदार होगा. हादसे की आशंका के चलते कई अभिभावकों ने तो बच्चों का दाखिला लाखेरी के स्कूलो मे करवा दिया है.

टीचर भी इस समस्या से परेशान है. स्कूल मे महज एक कमरा ही ठीक स्थिति में है जिसमें कार्यालय और रिकार्ड रखने के लिए उपयोग मे लिया जाता है. बरसात के दिनो मे खुले मैदान मे पढाई संभव भी नहीं हो पाती है. अभिभावकों को स्कूल मे हमेशा हादसे का डर लगा रहता है.

35 साल पुरा स्कूल जर्जर

भांड ग्वार मे 35 साल पहले स्कूल भवन का निर्माण हुआ था. तब से यही भवन चला आ रहा है. बीच के सालो मे जर्जर भवन की मरम्मत करवाई थी लेकिन अब भवन के सभी कमरे क्षतिग्रस्त हो गये हैं. किसी कमरे की छत गिर रही है तो किसी की दीवारें डैमेज हो गयी . ऐसे मे स्कूल का भवन किसी भी लिहाज से बैठने लायक नहीं है. यह स्कूल पहले प्राथमिक स्तर से शुरू हुआ बाद मिडिल और पिछले साल यह स्कूल सीनियर सेकेंडरी लेवल का हो गया, लेकिन स्कूल के अप ग्रेड होने के साथ सुविधाएं नहीं बढ़ पाई है. वर्तमान मे स्कूल मे दौ से अधिक बच्चो का नामांकन है और अभी प्रवेश प्रक्रिया जारी है.

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स्कूल का भवन पुरी तरह से जर्जर हो गया है. उच्च अधिकारियो को अवगत करवा रखा है लेकिन कोई राहत नहीं मिल पा रही है. हादसे की आशंका के चलते ग्रामीणों ने ताला लगा दिया. पूरे घटनाक्रम की वस्तु स्थिति से उच्च अधिकारियों को अवगत करवाया है.

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