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UP में लाल सलाम की दस्तक पर चौकन्ना हैं एजेंसियां, माफिया की तरह मिट्टी में मिला देंगे योगी

यूपी में लाल आतंक अपने पैर पसारने की कोशिश कर रहा है. लाल आतंक के झंडाबरदार नक्सली भूल गए हैं. ये बुलडोजर बाबा का शहर है. यूपी में अर्बन नक्सलवाद की जड़ें मज़बूत करना तो दूर, सोचना भी उन्हें मिट्टी में मिला देने के लिए काफी है.

UP में लाल सलाम की दस्तक पर चौकन्ना हैं एजेंसियां, माफिया की तरह मिट्टी में मिला देंगे योगी
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Shwetank Ratnamber|Updated: Sep 01, 2024, 02:37 PM IST

Naxal Move in UP: यूपी में लाल आतंक अपने पैर पसारने की कोशिश कर रहा है. लाल आतंक के झंडाबरदार नक्सली भूल गए हैं. ये बुलडोजर बाबा का शहर है. यूपी में अर्बन नक्सलवाद की जड़ें मज़बूत करना तो दूर, सोचना भी उन्हें मिट्टी में मिला देने के लिए काफी है. जांच एजेंसी ने यूपी में नक्सलवाद की जड़े जमाने वालों को लेकर बड़ा खुलासा किया है. अब योगी की आंखें भी इस साज़िश को देखकर लाल हैं.

उत्तर प्रदेश में माफियाओं पर नकेल कसने के बाद अब बुलडोजर बाबा को नया टारगेट सेट करने का वक्त आ गया है. डॉन और उनगे गुर्गों की माफियागिरी निकालने के लिए निकलने वाले बुलडोजरों को भी जल्द ही नया टारगेट मिल सकता है. प्रयागराज में अतीक अहमद का आतंक खत्म होने के बाद अब नक्सली अपनी जड़ें मजूबत करने की फिराक में हैं. 

यूपी में लाल सलाम की दस्तक

क्योंकि उत्तर प्रदेश में एक बार फिर लाल सलाम ने दस्तक दी है. आपको बता दें कि उत्तर प्रदेश में नक्सली मुहिम के बारे में जांच एजेंसी को बहुत बड़ा इनपुट मिला है. जांच एजेंसी की छापेमारी में हैरान कर देने वाले खुलासे हुए हैं. जिससे खुद यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी सन्न रह गए हैं.

हैरान कर देने वाले खुलासे के मुताबिक प्रयागराज में नक्सली अर्बन नक्सवाद की साज़िश रच रहे हैं.  
जो कभी अतीक अहमद का गढ़ प्रयागराज रहा.. यहां से अब नक्सली अपनी साज़िशों को अंजाम देने के लिए जमीन तैयार कर कहे हैं.

यही नहीं, यूपी पर नक्सलियों की नज़र अब चंदौली, सोनभद्र और मिर्जापुर के जंगलों से होते हुए. कई शहरों तक पहुंच गई है. जांच एजेंसी की बलिया और वाराणसी में हुई छापेमारी के बाद अब प्रयागराज और महाराज गंज में हुई छापेमारी से चौंका देने वाला खुलासा हुआ है. सूत्रों के मुताबिक इस बार अर्बन नक्सलवाद को बढ़ावा देने की कोशिश हो रही है. इसलिए इन्होंने नया प्लान तैयार किया है.

नक्सलियों के टारगेट पर 

झुग्गी-झोपड़ी में रहने वाले लोगों के बीच इनके नेता यहां के लोगों को नक्सलवाद से जोड़ने की कोशिश कर रहे हैं. यहां इनके निशाने पर गरीब, जरूरतमंद लोग हैं. जिन्हें भड़काना इनके लिए आसान हो सकता है. यानी ये साज़िश बहुत गहरी है. नक्सलियों का लाल झंडा बुलंद करने की साज़िश के लिए स्टूडेंट यूनियन के जरिए भी ये अर्बन नक्सल बढ़ाने की कोशिश कर रहे हैं. लेकिन इन साज़िशों को रचने वालों को याद रखना चाहिए कि योगी के राज में असमाजिक तत्वों के लिए एक ही पैगाम है. सीएम योगी आदित्यनाथ कह चुके हैं- 'मिट्टी में मिला देंगे.' यानी योगी राज में माफिया मिट्टी में मिले हैं. बुलेट से लेकर बुलडोजर ने इनका नामोनिशान तक मिटा दिया है. 

उत्तर प्रदेश में पैर पसारने की कोशिश करने वालों को योगी के अलावा गृहमंत्री अमित शाह के टारगेट को भी याद रखना चाहिए. उन्होंने हाल ही में नक्सलवाद के खात्मे को लेकर इंटर स्टेट कॉर्डिनेशन कमिटी की बैठक नक्सलवाद के खात्मे का टारगेट सेट किया है.

गृह मंत्री अमित शाह भी कह चुके हैं कि मार्च 2026 तक देश से नक्सलवाद का सफाया कर देंगे'. गृह मंत्रालय के मुताबिक 2004 से 2014 तक  नक्सली उग्रवाद से जुड़ी 16463 घटनाएं हुईं. 

वहीं 2014-2024 तक 7744 घटनाएं हुईं. इस हिसाब यानी अनुपात से 53% घटनाओं की कमी आई है.

यूपी में यूं तो माफियाओं को मिट्टी में मिलाने का काम करीब 8 साल से चल रहा है. बीते 9 महीनों की बात करें तो इन तीन मामलों ने सबका ध्यान खींचा.

1  -- अतीक अहमत की प्रोपर्टी पर बुलडोजर
2  -- मुख्तार अंसारी की प्रोपर्टी पर बुलडोजर
3  -- यूपी की पुलिस बदमाशों का एनकाउंटर

नक्सलियों की हरकतों पर योगी का प्रशासन पूरी तरह चौकन्ना है. गृह मंत्री अमित शाह कह चुके हैं, 'बीते 10 सालों में प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में उल्लेखनीय प्रगति हुई है, नक्सलवाद अब चुनिंदा राज्यों के कुछ जिलों तक सिमट गया है.' एक्शन चालू है. जाहिर है कि योगी आदित्यनाथ किसी भी हालत में यूपी को नक्सवाद का गढ़ नहीं बनने देंगे. 

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