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Ashadha Gupt Navratri 2023 June: इस दिन शुरू हो रही गुप्त नवरात्रि, जानिए कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त व महत्व

Gupt Navratri 2023 kab se hai: आषाढ़ माह शुरू हो चुका है. इस महीने पड़ने वाली गुप्‍त नवरात्रि में माता के आगमन और प्रस्‍थान की सवारी बारिश से जुड़ा बड़ा संकेत दे रही है. ऐसे में आइए जानते हैं कब शुरू हो रही है गुप्त नवरात्रि और क्या है पूजा का शुभ मुहूर्त...

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Ashadha Gupt Navratri 2023 June: इस दिन शुरू हो रही गुप्त नवरात्रि, जानिए कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त व महत्व
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Shubham Tiwari|Updated: Jun 09, 2023, 09:20 PM IST

Ashadha Gupt Navratri 2023 June: हिंदू पंचाग के अनुसरा साल में कुल चार नवरात्रि पड़ती है. साल में पड़ने वाली चारों नवरात्रि मां दुर्गा की पूजा उपासना के लिए बहुत शुभ मानी गई है. आषाढ़ का महीना चल रहा है. इस महीने शु्क्ल पक्ष में गुप्त नवरात्रि पड़ती है. इस साल आषाढ़ में कब शुरू हो रही गुप्त नवरात्रि और कब है कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त आइए जानते हैं.

कब शुरू हो रही आषाढ़ की गुप्त नवरात्रि
हिंदू पंचांग के अनुसार आषाढ़ माह के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि 18 जून रविवार को सुबह 10 बजकर 06 मिनट से शुरू हो रही है. यह तिथि यानी सोमवार 19 जून को सुबह 11 बजकर 25 मिनट तक रहेगी. उदयातिथि अनुसार प्रतिपदा तिथि 19 जून को मान्य है. इसलिए गुप्त नवरात्रि की शुरुआत 19 जून से हो रही है. इसका समापन 28 जून को होगी.

गुप्त नवरात्र कलश स्थापना शुभ मुहूर्त
गुप्त नवरात्रि की शुरुआत 19 जून को हो रही है. इस दिन कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त 19 जून सोमवार को सुबह 05 बजकर 23 मिनट से लेकर 07 बजकर 27 मिनट तक है. इस दिन अभिजीत मुहूर्त 11 बजकर 55 मिनट से 12 बजकर 50 मिनट तक है. 

हाथी की सवारी कर आ रही मां दुर्गा
धार्मिक मान्यतानुसार नवरात्रि के समय मां दुर्गा नवरात्रि के समय मां दुर्गा का पृथ्वी पर आगमन होता है. मां दुर्गा की सात दिन की सात सवारी होती है. इस बार मां दुर्गा हाथी की सवारी से आ रही है ऐसे में ज्योतिष की मानें तो मां दुर्गा का हाथी पर आगमन अत्यधिक बारिश का संकेत देता है. बता दें कि नवरात्रि यदि सोमवार या रविवार से शुरू होती है तो मां दुर्गा हाथी पर सवार होकर आती हैं.

गुप्त नवरात्रि का महत्व
जिस तरह चैत्र नवरात्रि में मां दुर्गा के नव स्वरूपों की पूजा की जाती है उस तरह आषाढ़ माह में पड़ने वाली गुप्त नवरात्रि में मां दुर्गा के 10 दिव्य स्वरुप यानी मां काली, मां तारा, मां त्रिपुर सुंदरी, मां भुवनेश्वरी, मां छिन्नमस्ता, मां त्रिपुर भैरवी, मां धूमानवती, मां बगलामुखी, मां मातंगी, और मां कमला की पूजा की जाती है. मां दुर्गा की साधाना में इन 10 महाविद्याओं का पूजा करना बहुत शुभ माना जाता है. ऐसी मान्यता है कि गुप्त नवरात्रि में इन देवियों की विधि विधान से पूजा करने से हमारी हर मनोकामना पल भर में पूरी हो जाती है. 

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(Disclaimer: इस लेख में दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और विभिन्न जानकारियों पर आधारित है. Zee Media इसकी पुष्टि नहीं करता है.)

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