Chandrayaan-3 DNA Analysis: आखिरकार वो पल आ गया, जिसका हर देशवासी को बेसब्री से इंतजार था. चंद्रयान-3 ने मंगलवार शाम 5 बजकर 44 मिनट पर लैंडिंग प्रोसेस शुरू किया. इसके बाद अगले 20 मिनट में चंद्रमा की अंतिम कक्षा से 25 किलोमीटर का सफर पूरा किया. शाम 6 बजकर 4 मिनट पर चंद्रयान-3 के Lander ने चांद पर कदम रखा. चांद पर पहुंचकर चंद्रयान ने अपने कुशल मंगल की सूचना भी दे दी है. देशवासियों को खुशखबरी देते हुए चंद्रयान ने मैसेज भेजा है - मैं अपनी मंजिल पर पहुंच गया हूं.
भारत दुनिया का पहला देश..
और इस तरह भारत दुनिया का पहला देश बन गया, जिसने चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर कदम रखा. और चौथा देश बन गया जो चंद्रमा की सतह पर उतरा. चंद्रयान-3 को Land करवाकर ISRO के वैज्ञानिकों ने जो कामयाबी हासिल की है, उसने भारत का नाम हमेशा-हमेशा के लिए इतिहास की किताब में स्वर्णिम अक्षरों से दर्ज कर दिया है.
जश्न रुकना नहीं चाहिए..
भारत ने वो करके दिखा दिया है जो बड़े-बड़े धुरंधर नहीं कर पाए. चांद के दक्षिणी ध्रुव को लेकर दुनियाभर की स्पेस एजेंसी के बीच जो डर था, भारत ने उस डर पर विजय पाई है. अमेरिका, चीन और रूस के लिए दक्षिणी ध्रुव पर उतरना, चुनौतीपूर्ण था. हाल ही में रूस ने दक्षिणी ध्रुव पर उतरने का प्रयास किया था, लेकिन उसका प्रयास सफल नहीं हो पाया था. लेकिन भारत ने सफल लैंडिंग कर बता दिया है कि डर के आगे जीत है.
वैज्ञानिकों के चेहरे खिले
चंद्रयान-3 की सफल लैडिंग के बाद ISRO सेंटर में मौजूद हर वैज्ञानिक के चेहरे खिल रहे थे. ISRO चीफ ने मंच से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को इस कामयाबी की जानकारी देते हुए कहा, 'We are on the Moon' यानी 'हम चंद्रमा पर हैं'. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी दक्षिण अफ्रीका से वीडियो कॉल के जरिए जुड़े हुए थे. इस सफलता के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ISRO चीफ एस. पी. सोमनाथ से फोन पर बात की.
अब चंदा मामा पास के..
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी चंद्रयान-3 की लैंडिंग के आखिरी 15 मिनट के लिए जुड़े थे. Landing की पूरी प्रक्रिया उन्होंने isro वैज्ञानिकों और देशवासियों के साथ मिलकर, Live देखी. इस सफलता के बाद उन्होंने कहा, 'चंदा मामा दूर के...अब ये बात पुरानी हो गई है...अब चंदा मामा पास के हो गए हैं, आज भारत के चंद्रयान-3 ने चांद की सतह पर उतरकर इतिहास रच दिया है. ISRO ने आज असंभव को संभव कर दिखाया है.'
ISRO का मिशन सफल
ISRO का मिशन सफल हो गया है. भारत पृथ्वी के एकमात्र प्राकृतिक उपग्रह चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर पहुंचने वाला दुनिया का पहला देश बन गया है. कामयाबी का ये वो सुनहरा पन्ना है जिसपर लिखा है. चांद पर मेरा भारत महान. भारतीय वैज्ञानिकों की ये कामयाबी इसलिए भी बड़ी है क्योंकि रहस्यों से भरे दक्षिणी ध्रुव पर अबतक कोई भी देश कदम नहीं रख पाया था. जहां पर भारत के चंद्रयान-3 ने soft landing की है वहां बड़े-बड़े पहाड़ और गड्ढे हैं. इस जगह पर सूरज की रोशनी भी बहुत कम पड़ती है. आज लैंडिंग के समय चांद के दक्षिणी ध्रुव पर सूरज निकला हुआ है. यानि सूरज की रोशनी इस हिस्से पर पड़ रही है. इसी को देखते हुए isro के वैज्ञानिकों ने 23 अगस्त का दिन चुना था.
भारत ने रचा इतिहास
चांद पर तिरंगा फहराकर भारत ने इतिहास रचा है. हर भारतीय के लिए ये गर्व का पल है. 14 जुलाई से 23 अगस्त तक. यानी चंद्रयान-3 की Launching से Landing तक. DNA टीम के साथ आप इस ऐतिहासिक यात्रा के साक्षी बने हैं. हमने अपने शो में ISRO के इस महत्वाकांक्षी मिशन की हर महत्वपूर्ण पड़ाव की खुशी को आपके साथ साझा किया है.
हिंदुस्तान की 'चंद्र विजय' का 'गौरवशाली' विश्लेषण
लैंडिंग के आखिरी 17 मिनट की inside storyदेखिए #DNA LIVE Sourabh Raaj Jain के साथ#ZeeLive #DNAWithSourabh #Chandrayaan3 #Chandrayaan3Landing #ISRO @saurabhraajjain https://t.co/bCvkUwOJG2
— Zee News (@ZeeNews) August 23, 2023