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पशुपालकों के लिए PM मोदी का अब तक का सबसे बड़ा तोहफा, लंपी बीमारी से मिलेगी निजात

ग्रेटर नोएडा में 12 से 15 सितंबर तक World Dairy Submit हो रही है. यह भारत में दूसरी बार हो रही है. इस सम्मेलन में 50 देशों के मेहमान और 800 किसानों समेत 1500 प्रतिनिधि शामिल होंगे. इसकी थीम पोषण और आजीविका के लिए डेयरी विषय पर केंद्रित है.  

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पशुपालकों के लिए PM मोदी का अब तक का सबसे बड़ा तोहफा, लंपी बीमारी से मिलेगी निजात
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Abhinav Tomer|Updated: Sep 13, 2022, 12:39 PM IST

World Dairy Submit: ग्रेटर नोएडा में कल यानी सोमवार को पीएम मोदी ने वर्ल्ड डेयरी समित-2022 का उद्घाटन किया. इस दौरान पीएम मोदी ने कहा कि विश्व के अन्य विकसित देशों से अलग, भारत में डेयरी सेक्टर की असली ताकत छोटे किसान हैं. आज भारत में डेयरी कोऑपरेटिव का एक ऐसा विशाल नेटवर्क है, जिसकी मिसाल पूरी दुनिया में मिलना मुश्किल है. वहीं उन्होंने देश में फैल रही लंपी बीमारी के बारे में कहा कि सरकार इस पर काम कर रही हैं. हमारे वैज्ञानिकों ने लंपी रोग की स्वदेशी वैक्शीन भी तैयार कर ली है और 2025 तक पशुओं का शत-प्रतिशत टीकाकरण होगा.

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2025 तक 100% टीकाकरण
वहीं पीएम मोदी ने कहा कि हाल के दिनों में लंपी नाम की बीमारी से भारत के कई राज्यों में पशुधन का नुकसान हुआ है. केंद्र सरकार राज्य सरकारों के साथ मिलकर इसे नियंत्रित करने की कोशिश कर रही है. यह बीमारी मवेशियों में बीमारी दूध उत्पादन और इसकी गुणवत्ता को भी प्रभावित करती है, इसलिए सरकार पशुधन के सार्वभौमिक टीकाकरण पर ध्यान केंद्रित कर रही है. वहीं उन्होंने कहा कि हमारे वैज्ञानिकों ने लंपी रोग की स्वदेशी वैक्शीन भी तैयार कर ली है. भारत में पशुओं के यूनिवर्सल वैक्सीनेशन पर भी जोर दे रहे हैं. पीएम ने आगे कहा कि हम पैर और मुंह की बीमारी के लिए वर्ष 2025 तक पशुओं के 100% टीकाकरण के लिए प्रतिबद्ध हैं. उन्होंने कहा कि हम इस दशक के अंत तक इन बीमारियों से पूरी तरह से मुक्ति का लक्ष्य लेकर चल रहे हैं. 

डेयरी सेक्टर की कैपेसिटी बढ़ी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि भारत में डेयरी सेक्टर की असली ताकत छोटे किसान हैं. उन्होंने कहा कि भारत में डेयरी कोऑपरेटिव का एक ऐसा विशाल नेटवर्क है, जिसकी मिसाल पूरी दुनिया में मिलना मुश्किल है. वहीं उन्होंने कहा कि मुझे यह घोषणा करते हुए खुशी हो रही है कि भारत में 8 करोड़ से अधिक परिवार डेयरी क्षेत्र से अपनी आजीविका कमाते हैं. डेयरी सहकारी समितियां देश के 2 लाख गांवों से उत्पाद जमा करती हैं और उपभोक्ताओं से प्राप्त कुल राजस्व का 70% सीधे किसानों को जाता है. पीएम ने बताया कि इस पूरी प्रकिया में बीच में कोई मिडिल मैन नहीं होता और ग्राहकों से जो पैसा मिलता है, उसका 70% से ज्यादा किसानों को ही जाता है.

वहीं पीएम मोदी ने कहा कि 2014 में हमारी सरकार ने भारत के डेयरी सेक्टर की कैपेसिटी बढ़ाने का काम किया, जिसकी वजह से आज किसानों की आय बढ़ी है. पिछले 8 साल में दूग्ध उत्पादन में करीब 44% की बढ़ोतरी हुई है. 2014 में दूग्ध उत्पादन 14.6 टन होता था. वहीं आज की डेट में 21 टन पहुंच गया है.

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