Supreme Court News: भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) की नेता के. कविता को कथित दिल्ली आबकारी नीति घोटाले से जुड़े दो मामलों में सुप्रीम कोर्ट से जमानत मिल गई. कविता के खिलाफ केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने भ्रष्टाचार और प्रवर्तन (ED) ने धन शोधन (मनी लॉन्ड्रिंग) का मामला दर्ज किया था. मंगलवार को जस्टिस बीआर गवई और जस्टिस केवी विश्वनाथन की पीठ ने कहा कि कविता करीब पांच महीनों से हिरासत में हैं और इन मामलों में उनके खिलाफ CBI और ED की जांच पूरी हो गई है. सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें जमानत दिए जाने से इनकार करने वाले दिल्ली हाई कोर्ट के जुलाई के आदेश को रद्द कर दिया.
SC में सिसोदिया वाले फैसले का दिया गया हवाला
SC ने मंगलवार को ईडी और सीबीआई से सवाल किया कि उनके पास यह साबित करने के लिए क्या 'सामग्री' है कि कविता कथित दिल्ली आबकारी नीति घोटाले में शामिल थीं. कविता की ओर से पेश हुए वरिष्ठ अधिवक्ता मुकुल रोहतगी ने यह कहते हुए जमानत देने का अनुरोध किया कि उनकी मुवक्किल के खिलाफ दोनों एजेंसियों की जांच पूरी हो गई है. उन्होंने दोनों मामलों में सह आरोपी एवं आम आदमी पार्टी (आप) के नेता मनीष सिसोदिया को जमानत देने के उच्चतम न्यायालय के फैसले का भी हवाला दिया.
जांच एजेंसियों की ओर से पेश हुए अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल एस वी राजू ने दावा किया कि कविता ने अपना मोबाइल फोन 'फॉर्मेट'/नष्ट किया था तथा उनका आचरण सबूतों से छेड़छाड़ करने वाला था. रोहतगी ने इस आरोप को 'फर्जी' बताया.
यह भी पढ़ें: नाव में धमाका हुआ और मारा गया भारत के बंटवारे का सूत्रधार, कहानी लॉर्ड माउंटबेटन की
अप्रैल में अरेस्ट की गई थीं कविता
दिल्ली हाई कोर्ट ने ने दोनों मामलों में कविता की जमानत याचिकाएं खारिज करते हुए कहा था कि वह प्रथम दृष्टया दिल्ली आबकारी नीति 2021-22 (जो अब रद्द की जा चुकी है) को तैयार करने और लागू करने से संबंधित आपराधिक साजिश में मुख्य साजिशकर्ताओं में से एक हैं. ईडी ने कविता (46) को 15 मार्च को हैदराबाद में उनके बंजारा हिल्स स्थित घर से गिरफ्तार किया था. सीबीआई ने कथित घोटाले से जुड़े भ्रष्टाचार के मामले में 11 अप्रैल को उन्हें गिरफ्तार किया था. कविता इन आरोपों को लगातार खारिज कर रही हैं. (एजेंसी इनपुट्स)