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Jitan Ram Manjhi Profile: राजनेता से पहले क्लर्क थे मांझी, देखें बिहार के सीएम से लेकर केंद्रीय मंत्री तक का सफर

Jitan Ram Manjhi Profile: जीतन राम मांझी (Jitan Ram Manjhi) का राजनीतिक जीवन काफी रोचक है. उन्होंने 14 साल तक टेलीफोन विभाग में क्लर्क के रूप में काम किया, लेकिन 1966 में राजनीति में रुचि के चलते नौकरी छोड़ दी.

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Jitan Ram Manjhi Profile: राजनेता से पहले क्लर्क थे मांझी, देखें बिहार के सीएम से लेकर केंद्रीय मंत्री तक का सफर
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PUSHPENDER KUMAR|Updated: Jun 09, 2024, 02:38 PM IST

Jitan Ram Manjhi Profile: राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने राष्ट्रपति भवन में नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) को प्रधानमंत्री पद और गोपनीयता की शपथ दिलाएंगी. नरेंद्र मोदी तीसरी बार भारत के प्रधानमंत्री चुने गए है. इस मौके पर मोदी कैबिनेट में बिहार के कई नेता भी मंत्री पद की शपथ लेंगे. जिनमें 'हम' के संयोजक और सांसद जीतन राम मांझी (Jitan Ram Manjhi) का नाम शामिल है. जीतन राम मांझी का राजनीतिक सफर काफी लंबा और अनुभवों से भरा हुआ है. बिहार में एनडीए गठबंधन के तहत 'हम' को गया सीट मिली थी, जहां से मांझी ने चुनाव लड़ा और जीते. अगर मांझी के करियर की बात करें तो उन्होंने टेलीफोन विभाग में क्लर्क की नौकरी से इस्तीफा देकर राजनीतिक जीवन में कदम रखा और विधायक, मंत्री और मुख्यमंत्री जैसे महत्वपूर्ण पदों पर काम किया है. अब केंद्रीय कैबिनेट में अपने अनुभव से योगदान देंगे.

टेलीफोन विभाग में क्लर्क के पद पर दी अपनी सेवा
जीतन राम मांझी (Jitan Ram Manjhi) का राजनीतिक जीवन काफी रोचक है. उन्होंने 14 साल तक टेलीफोन विभाग में क्लर्क के रूप में काम किया, लेकिन 1966 में राजनीति में रुचि के चलते नौकरी छोड़ दी. 1980 में वे पहली बार कांग्रेस पार्टी से फतेहपुर विधानसभा (अब बोधगया) से विधायक चुने गए और राजस्व राज्य मंत्री बने. 1983 से 1985 तक और फिर 1988 से 2000 तक वे बिहार सरकार में राज्यमंत्री रहे. 2008 में उन्हें कैबिनेट मंत्री बनाया गया और उन्होंने विभिन्न मंत्रालयों में काम किया, जैसे भूमि सुधार राजस्व विभाग, समाज कल्याण विभाग, अनुसूचित जाति जन जाति कल्याण विभाग, उच्च शिक्षा विभाग आदि. 20 मई 2014 से 20 फरवरी 2015 तक वे बिहार के मुख्यमंत्री रहे और दलित समुदाय के तीसरे मुख्यमंत्री बने. उन्होंने बाराचट्टी और मखदुमपुर से भी विधायक के रूप में सेवा की. एक बार फतेहपुर विधानसभा से 147 वोटों से हार का सामना करना पड़ा. वर्तमान में वे इमामगंज से विधायक हैं. मुख्यमंत्री पद छोड़ने के बाद, उन्होंने अपनी पार्टी हिन्दुस्तानी अवामी मोर्चा (हम) की स्थापना की.

कब हुआ ता जीतन राम मांझी का जन्म
जीतन राम मांझी का जन्म 1944 में गया जिले के खिजरसराय के महकार गांव में हुआ था. उनकी पत्नी शांति देवी के साथ उनके दो बेटे और पांच बेटियां हैं. उनके बेटे डॉ. संतोष सुमन बिहार सरकार में मंत्री हैं. मुख्यमंत्री रहते हुए मांझी ने अपने गांव में काफी विकास कार्य किए. 

यह देखना दिलचस्प होगा कि वे गया का कैसे करते हैं विकास
40 साल के राजनीतिक अनुभव के साथ 80 वर्षीय मांझी का सपना है कि संसद पहुंचकर गया का विकास करें. वे सोननगर इंदपुरी से नहर निकालकर निरंजना-फल्गु नदी में पानी लाना चाहते हैं, गया और बोधगया को विकसित करना चाहते हैं. पर्यटकों के लिए बेहतर सुविधाएं उपलब्ध कराना चाहते हैं. उनके अन्य लक्ष्यों में विष्णुपद मंदिर और बोधगया को जोड़ने, बोधगया के विकास के लिए प्राधिकार बनाने, ऐतिहासिक गांधी मैदान को सुधारने और गुरारू चीनी मिल को पुनः चालू करना शामिल है. अब वे भारी मतों से जीतकर संसद पहुंचे हैं और यह देखना दिलचस्प होगा कि वे गया का विकास कैसे करते हैं.

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