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Ashok Chavan: अशोक चव्हाण को भाजपा ने थमाया राज्यसभा का टिकट, सामना ने लिखा- 'फ्लैट चुराने वाला चौकीदार बन गया'

Maharashtra Rajya Sabha Chunav: दो दिन पहले तक कांग्रेस में रहे पूर्व सीएम अशोक चव्हाण को भाजपा राज्यसभा भेज रही है. एक दिन पहले ही उन्होंने भाजपा का दामन थामा था. घोटाले में नाम आने के बाद उन्हें सीएम की कुर्सी छोड़नी पड़ी थी. अब 'सामना' ने बीजेपी पर तंज कसा है. 

Ashok Chavan: अशोक चव्हाण को भाजपा ने थमाया राज्यसभा का टिकट, सामना ने लिखा- 'फ्लैट चुराने वाला चौकीदार बन गया'
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Anurag Mishra|Updated: Feb 14, 2024, 03:44 PM IST

BJP Rajya Sabha Elections: महाराष्ट्र कांग्रेस के बड़े नेता और पूर्व मुख्यमंत्री अशोक चव्हाण (Ashok Chavan BJP) के शामिल होते ही भाजपा ने उन्हें राज्यसभा का टिकट थमा दिया है. कुछ साल पहले आदर्श घोटाले में नाम आने के बाद बीजेपी उन्हें जेल भेजने की बात करती थी लेकिन लोकसभा चुनाव से पहले विपक्ष के I.N.D.I.A गठबंधन को कमजोर करने के लिए भगवा दल हरसंभव कोशिश कर रहा है. इस बीच, शिवसेना (उद्धव ठाकरे गुट) ने अपने मुखपत्र 'सामना' में लिखा, 'जिस अशोक चव्हाण पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने खुद आदर्श घोटाले का आरोप लगाया था, वह भ्रष्ट चौकीदार भाजपा की वॉशिंग मशीन में धुलकर स्वच्छ चौकीदार बन गया?' 

आगे पढ़िए सामना के लेख का अंश

'भारतीय जनता पार्टी को मोदी और शाह ने तोड़कर खत्म कर दिया. उन्होंने भाजपा को ही कांग्रेस बना दिया और कांग्रेस को अमर कर दिया. मोदी ने साबित कर दिया कि कांग्रेस के बिना भाजपा देश नहीं चला सकती. महाराष्ट्र में ही नहीं, बल्कि पूरे देश में ऐसा माहौल बन गया 'अबकी बार चार सौ पार' यह मोदी की गर्जना इसी अभियान का एक हिस्सा है. बेशक, भारतीय जनता पार्टी की 400 सीटों वाली दिल्ली अभी बहुत दूर है. अन्य दलों के शक्तिशाली भ्रष्टाचारियों को साथ लेकर भी वे बमुश्किल 200 का आंकड़ा पार कर सकेंगे, ऐसा माहौल है. 

पहले पाप धोने गंगा में नहाते थे

इसी घबराई हुई अवस्था में भाजपा रोज दूसरी पार्टियों के भ्रष्टाचारियों को अपनी वॉशिंग मशीन में डालकर साफ कर रही है. महाराष्ट्र कांग्रेस के नेता और पूर्व मुख्यमंत्री अशोक चव्हाण ने कांग्रेस से इस्तीफा दिया और वह भाजपा की वॉशिंग मशीन में गए हैं. पहले पाप धोने के लिए गंगा में स्नान करने की परंपरा थी, अब भाजपा की वॉशिंग मशीन ही गंगोत्री बन गई है. कांग्रेस ने अशोक चव्हाण और उनके परिवार को देने में क्या कमी की थी? उनके पिताश्री शंकरराव चव्हाण तीन बार महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री और उससे पहले वह वर्षों तक मंत्री रहे. उन्होंने केंद्र में वित्त, रक्षा और गृह जैसे महत्वपूर्ण विभाग संभाले. अशोक चव्हाण लंबे समय तक मंत्री और राज्य के मुख्यमंत्री रहे. उनके खून में कांग्रेस थी. फिर भी वह चले गए.

कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने टिप्पणी की है कि जो लोग किन्हीं कारणों से असुरक्षित महसूस करते हैं, उन्हें वैचारिक निष्ठा के बजाय भाजपा का धुलाई यंत्र आकर्षित करता है. अशोक चव्हाण की प्रेरणा से मुंबई के समृद्ध इलाके कफ परेड में शहीद सैनिकों के लिए आरक्षित भूखंड पर एक ऊंचा टावर खड़ा हुआ. मूल भवन पांच-छह मंजिल का ही तैयार होनेवाला था. अशोक चव्हाण की कृपा से उस पर 32 मंजिलें खड़ी हो गईं. इसमें करोड़ों का लेन-देन हुआ. ये सभी मामले सीबीआई के पास गए. कई अधिकारियों को गिरफ्तार किया गया. कई राजनेताओं ने उस इमारत में निवेश किया. खुलासा हुआ कि उसी 'आदर्श' बिल्डिंग में अशोक चव्हाण और परिवार के पांच-छह फ्लैट थे. 

तब पीएम की नम हो गई थीं आंखें

उस वक्त भाजपा ने भारतीय सेना के शहीदों की विधवाओं के फ्लैट हड़पने का मामला उठाया था. अशोक चव्हाण को मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देना पड़ा. तब प्रधानमंत्री मोदी खुद नांदेड़ आए थे और भावनात्मक शब्दों में उन्होंने कहा था कि अशोक चव्हाण ने 'आदर्श' घोटाले में शहीदों का अपमान किया. शहीदों का अपमान हुआ है यह कहते हुए उनकी आंखें नम हो गई थीं. उन्होंने कहा था कि शहीदों का अपमान करनेवालों को माफ मत करना. मुंबई के आदर्श गृह निर्माण सोसाइटी के कारगिल शहीदों की विधवाओं के फ्लैट्स जिन्होंने चुराए और ये फ्लैट्स जिन्होंने अपनी सास, साली के नाम पर करवा दिए वह अशोक चव्हाण 'चौकीदार' कैसे हो सकते हैं? आप किस चौकीदार के हाथ में देश सौंपने वाले हो? देश को इन सवालों का जवाब चाहिए... ऐसा उस वक्त मोदी ने कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं को सुनाया था, तो अब क्या हुआ?

क्या शहीद जवानों की विधवाओं के फ्लैट चुराने वाला 'भ्रष्ट चौकीदार' आज भाजपा की वॉशिंग मशीन में आकर 'स्वच्छ चौकीदार' बन गया है? कल आपने कांग्रेस नेतृत्व से सवाल पूछा था, आज देश की जनता आपसे वही सवाल पूछ रही है... संसद सत्र में मोदी सरकार ने यूपीए काल के वित्तीय घोटालों पर श्वेत पत्र जारी किया. उस श्वेत पत्र में अशोक चव्हाण टावर के 'आदर्श' घोटाले का विशेष रूप से उल्लेख है... तो जिन शहीदों के लिए भाजपा ने उनके अपमान किए जाने का हल्ला मचाया वह झूठा था? या फिर भाजपा ने शहीदों को ही अपने वॉशिंग मशीन में डालकर उनकी शहादत के रंग मिटा दिए?... गले की नसें फाड़कर देवेंद्र फडणवीस चिल्ला रहे थे कि अशोक चव्हाण लीडर नहीं, बल्कि डीलर हैं. आज इस डीलर के, शहीदों का अपमान करने वाले के स्वागत की कमान पर पताकाएं चिपकाने का काम फडणवीस - मोदी को करना पड़ रहा है. भाजपा की बड़ी हार की यह गारंटी है. शहीद भाजपा को माफ नहीं करेंगे!'

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