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Smarak Ghotala: BSP राज में 1400 करोड़ के स्मारक घोटाले के आरोपी CP सिंह के ठिकानों पर रेड

CP Singh: मायावती सरकार (Mayawati Govt) में हुए स्मारक निर्माण के घोटाले (smarak scam) में निर्माण निगम के पूर्व एमडी सीपी सिंह के खिलाफ वित्तीय अनियमितताओं और आय से ज्यादा संपत्ति की जांच चल रही थी. इसी केस में विजिलेंस ने जांच में उनकी कई चल-अचल संपत्ति को आय से ज्यादा पाया था. कई शहरों में रेड से उनके करीबियों में हड़कंप मचा है.

Smarak Ghotala: BSP राज में 1400 करोड़ के स्मारक घोटाले के आरोपी CP सिंह के ठिकानों पर रेड
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Shwetank Ratnamber|Updated: Jan 11, 2024, 07:22 AM IST

Vigilence raid CP Singh: ऊत्तर प्रदेश की पूर्ववर्ती बहुजन समाज पार्टी (BSP) सरकार में हुए 1400 करोड़ के स्मारक घोटाले (Smarak Scam) के आरोपी सीपी सिंह (CP Singh) के ठिकानों पर विजिलेंस की रेड हुई है. इस छापेमारी में सिंह के दिल्ली, देहरादून, मुंबई, गुरुग्राम समेत कई शहरों में मकान, दुकान और अन्य आलीशान प्रतिष्ठानों का खुलासा हुआ है. BSP की सरकार में अंजाम दिए गए 1400 करोड़ रुपये के स्मारक घोटाले के आरोपी उत्तर प्रदेश राजकीय निर्माण निगम (Uttar Pradesh Rajkiya Nirman Nigam) के पूर्व प्रबंध निदेशक सीपी सिंह के राजधानी स्थित तीन ठिकानों पर विजिलेंस ने छापा मारा है. 

यूपी राजकी निर्माण निगम के पूर्व एमडी के ठिकानों पर मिली जगुआर-बीएमडब्ल्यू

शासन के निर्देश पर विजिलेंस ने मंगलवार को सीपी सिंह के खिलाफ आय से अधिक संपत्ति अर्जित करने का केस दर्ज करने के बाद यह कार्रवाई की है. विजिलेंस विभाग की रेड में कई महंगी गाड़ियां जगुआर और BMW भी मिली हैं. विजिलेंस के एडीजी राजीव कृष्ण ने छापेमारी की पुष्टि की है.

कई अन्य लोग भी विजिलेंस के राडार पर

यूपी स्मारक घोटाला (UP Smarak Ghotala) मामले में यूपी के बहुचर्चित स्मारक घोटाले की जांच में कई अन्य व्यक्ति भी संदेह के घेरे में है. वहीं सिंह के करीबियों की भी मुश्किलें बढ़ सकती हैं. उल्लेखनीय है कि विजिलेंस ने जनवरी 2014 में स्मारक घोटाले की FIR दर्ज कराकर अपनी जांच शुरू की थी. इसी मामले में मायावती की सरकार में पूर्व मंत्री बाबू सिंह कुशवाहा ने उस दौरान उनके विरुद्ध कोई सबूत न मिलने का हवाला देते हुए FIR रद किए जाने की मांग की थी. इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने पूर्व मंत्री की वो याचिका खारिज कर दी थी. इस मामले में एमपी-एमएलए कोर्ट तक भी बात पहुंची थी.

UP Memorial Scam Latest News Smarak Ghotala: क्या है स्मारक घोटाला?

साल 2007-2011 के दौरान सामने आया यह मामला लखनऊ (Lucknow) और नोएडा (Noida) में स्मारकों एवं उद्यानों के निर्माण व इससे जुड़े अन्य कार्यों में प्रयोग किए जाने वाले सैंडस्टोन की खरीद-फरोख्त में अरबों रुपये के घोटाले से जुड़ा है. इन स्मारकों में अंबेडकर सामाजिक परिवर्तन स्थल, मान्यवर कांशीराम स्मारक स्थल, गौतम बु़द्ध उपवन, ईको गार्डन व नोएडा का अंबेडकर पार्क था. इसके लिए 42 अरब 76 करोड़ 83 लाख 43 हजार का बजट आवंटित हुआ था, जिसमें 41 अरब 48 करोड़ 54 लाख 80 हजार की धनराशि खर्च की गई.

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