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48 लाख रुपये में नीलाम हुआ संविधान का पहला संस्करण

भारतीय संविधान के पहला संस्करण को कला नहीं, बल्‍क‍ि वास्तुकला का काम माना गया है. इस अनमोल कृत‍ि को हाल ही में 48 लाख रुपये में नीलाम क‍िया गया है.

48 लाख रुपये में नीलाम हुआ संविधान का पहला संस्करण
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Vandanaa Bharti|Updated: Jul 31, 2024, 09:48 AM IST

भारतीय संविधान के पहला संस्करण को 48 लाख रुपये में नीलाम क‍िया गया है, जो अब तक की सबसे अधिक कीमत है. इस दुर्लभ किताब को देहरादून के भारतीय सर्वेक्षण कार्यालय ने बनाई है. बता दें क‍ि साल 1950 में केंद्र ने इसकी केवल 1,000 प्रतियों बनाई थीं और ये क‍िताब उसी में से एक है. इस क‍िताब में इसके निर्माताओं के हस्ताक्षर हैं, जिनमें बी आर अंबेडकर के साथ-साथ प्रेम बिहारी नारायण ज‍िसने कैलीग्राफी की और मॉडर्न कलाकार नंदलाल बोस ने इसका च‍ित्रण क‍िया है.  

बता दें क‍ि नीलाम हुआ संव‍िधान का पहला संस्‍करण एक फोटोलिथोग्राफिक प्रतिलिपि है, ज‍िसका खाका भारतीय संसद के पुस्तकालय में एक विशेष हीलियम-भरे बक्से में रखा गया है. 

क‍िसने की नीलामी  
इस नीलामी को सैफरनआर्ट ने आयोज‍ित क‍िया था और इसमें भारत समेत अन्‍य कई देशों की नायाब चीजें नीलामी में शाम‍िल थीं. ये नीलामी 24 से 26 जुलाई तक चली और तीन द‍िनों तक चली इस ऑनलाइन नीलामी में भारतीय इतिहास, कला, साहित्य और फोटोग्राफी की सदियों पुरानी प्राचीन वस्तुएं नीलामी के लिए रखी गई थीं. 

सैफरनआर्ट की सह-संस्थापक मीनल वजीरानी ने कहा क‍ि उनके सौंदर्य के अलावा, प्रत्येक भाग भारत की विरासत के दस्तावेज के रूप में अपार ऐतिहासिक मूल्य रखता है. उन्होंने संविधान को एक महत्वपूर्ण वस्तु बताया और कहा क‍ि स्वतंत्र भारत और उसके मूल्यों के प्रतीक के रूप में इसकी गहरी भावनात्मक लगाव के कारण ये दस्‍तावेज महत्‍व रखता है. 

भारतीय संव‍िधान को अंबेडकर ने तैयार क‍िया था और इसपर साल 1946 की संविधान सभा के 284 सदस्यों के हाथों के निशान हैं, जिनमें लेखिका कमला चौधरी के हिंदी हस्ताक्षर और तत्कालीन प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के अंग्रेजी हस्ताक्षर शामिल हैं. 

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